MP Board Class 8 Hindi Sugam Bharti Chapter 14 Prerak Prasang

  

  पाठ 14
प्रेरक प्रसंग

 संकलित




MP Board Class 8 Hindi Sugam Bharti Chapter 14 Prerak Prasang

Download Lesson




MP Board Class 8 Hindi Sugam Bharti Chapter 14 Prerak Prasang

Online Video




MP Board Class 8 Hindi Sugam Bharti Chapter 14 Prerak Prasang

Textual Exercise


नए शब्द–

शीर्ष =चोटी,शिखर। 

प्रतिकूल =विपरीत,जो अनुकूल न हो। 

ध्रुवतारा= वह तारा जो सदा ध्रुव अर्थात् स्थिर रहता है, वह तारा जो हमेशा उत्तर दिशा में रहता है। 

आभा =चमक,कांति,शोभा। 

प्रगाढ़= गहरा, बहुत अधिक। 

निखारना =निर्मल बनाना, साफ करना,चमकाना। 

शिल्पी= रचनाकार, सर्जक, कारीगर (भवन निर्माता)। 

ओत-प्रोत =खूब भरा हुआ, पूरा तरह भीगा/ डूबा हुआ। 

विह्वल= व्याकुल। 

लट्ठा= लकड़ी का मोटा बड़ा टुकड़ा। 

चिराग= दीपक। देह= शरीर। 

हरजाना= जुर्माना। 

अथक= बिना थके,अत्यधिक। 

चस्का= चाव, लत। 

डेस्क =छोटी चौकी, ढालू मेज।


अनुभव विस्तार—

प्रश्न 1. वस्तुनिष्ठ प्रश्न–
(क) सही जोड़ी बनाइए—

(अ)                    (ब)
1) अथक            (क) दिन
2) कड़कती       (ख) लड़का
3) चार               (ग) आवाज
4) गरीब             (घ) परिश्रम
उत्तर:- (1)→(घ),(2)→(ग),(3)→(क),(4)→(ख)।

(ख) सही विकल्प चुनकर रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए–
(अ) अब्राहम लिंकन नाम का एक …………लड़का था। (अमीर/ गरीब)
(ब) आधी रात तक लिंकन …………रहता। (पढ़ता/ सोता)
(स) द्विवेदी जी ने ……….में नौकरी की और तार बाबू बने। (रेलवे/डाकघर)
(द) द्विवेदी जी ने नौकरी छोड़ दी और वे ……………पत्रिका का सम्पादन करने लगे। (लक्ष्मी/सरस्वती)
उत्तर:- (अ) गरीब, (ब) पढ़ता, (स) रेलवे, (द) सरस्वती।


प्रश्न 2. अति लघु उत्तरीय प्रश्न—
(अ) महावीर प्रसाद द्विवेदी जी ने किस पत्रिका का सम्पादन किया ?
उत्तर:-
महावीर प्रसाद द्विवेदी जी ने ‘सरस्वती’ पत्रिका का सम्पादन किया।


(ब) द्विवेदी जी किन-किन भाषाओं का ज्ञान प्राप्त किया ?
उत्तर
:- द्विवेदी जी ने हिन्दी, संस्कृत, उर्दू, अंग्रेजी और फारसी भाषाओं का ज्ञान प्राप्त किया।


(स) लिंकन गणित के सवाल किस पर हल करते थे ?
उत्तर
:- लिंकन गणित के सवाल लकड़ी के लट्ठों पर हल करते थे।


(द) लिंकन ने सर्वोच्च पद किसके बल पर प्राप्त किया ?
उत्तर
:- लिंकन ने लगन , ईमानदारी, परिश्रम और योग्यता के बल पर सर्वोच्च पद प्राप्त किया।

प्रश्न 3. लघु उत्तरीय प्रश्न –
(अ) द्विवेदी जी के प्रेरक प्रसंग पढ़कर आपको क्या प्रेरणा मिलती है?
उत्तर
:- द्विवेदी जी के प्रेरक प्रसंग पढ़कर हमें प्रेरणा मिलती है कि निर्धन होने पर भी परिश्रम, लगन और ईमानदारी से व्यक्ति महान बन सकता है। द्विवेदी जी भले ही गरीब परिवार में पैदा हुए किन्तु उनमें ज्ञान प्राप्त करने तथा उसके लिए प्रयत्न करने की तीव्र भावना थी। वे समय के महत्व को जानते थे। अतः उसका पूरा सदुपयोग करते थे। इसलिए हमें ज्ञान प्राप्त करने के लिए प्रयत्न करने की तथा समय पर कार्य करने की प्रेरणा मिलती है।


(ब) द्विवेदी जी सुबह के समय किसी से क्यों नहीं मिलते थे ?
उत्तर
:- महावीर प्रसाद द्विवेदी ‘सरस्वती’ पत्रिका का सम्पादन करते थे। उन्हीं के श्रम , साधना और ज्ञान के कारण ‘ सरस्वती ’ स्तरीय पत्रिका बनी थी। वे सुबह का समय सरस्वती के सम्पादन कार्य में लगाते थे। प्रातः काल का समय मानसिक कार्यों के लिए अधिक उपयोगी होता है। इसीलिए वे प्रातः किसी से नहीं मिलते थे। वे एकाग्र होकर सम्पादन कार्य करते थे।


(स) समय नियोजन को स्पष्ट करने वाली द्विवेदी जी के जीवन की घटना बताइए ?
उत्तर
:- द्विवेदी जी समय के महत्व से भली-भांति परिचित थे। इसलिए वे समय का नियोजन करके चलते थे। एक बार श्री सद्गुरूशरण अवस्थी अपने मित्र के साथ उनसे मिलने गए। द्विवेदी जी ने उन्हें पहले ही संकेत कर दिया ‘हम समझते हैं कि हमारी बात पन्द्रह मिनट में पूरी हो जाएगी ’ उन्होंने नपे-तुले शब्दों में बात की। निर्धारित समय में ही बात पूरी हो गई। उन्होंने अवस्थी जी को बताया कि ‘ पूर्व निर्धारित समय में कार्य करने का संकल्प मनुष्य की शक्तियों में निखार लाता है।


(द) अब्राहम लिंकन की दिनचर्या कैसी थी ?
उत्तर
:- अब्राहम लिंकन की दिनचर्या व्यवस्थित थी। बालक लिंकन दिनभर खेतों में गल्ला उठाने-धरने का काम करता था। दिन ढलने पर अपने घर लौटता था और भोजन करता था। उसके बाद दीपक जलाकर पढ़ने के लिए बैठ जाता था। वह आधी रात तक पढ़ता था परन्तु उसे थकान नहीं होती थी। फिर सो जाता था। उसकी नित्य प्रति की यही दिनचर्या थी।


(ई) लिंकन ने किताब का दाम किस प्रकार चुकाया ?
उत्तर
:- लिंकन माँग-माँग कर किताबे पढ़ते थे। एक बार वे किताब पढ़ते-पढ़ते ही सो गए, किताब खुली रह गई और कोहरे से भीग गई। जब वे किताब लौटाने गये तो उसने कड़कती आवाज मे कहा ‘मुझे या तो नई किताब लाकर दो या पूरे- पूरे दाम दो। अगर तुम कुछ नहीं कर सकते हो तो चार दिन मेरे खेत में काम करो। लिंकन ने चार दिन खेत में अथक् परिश्रम करके किताब का दाम चुकाया।


भाषा की बात—

प्रश्न 1. बोलिए और लिखिए—
विद्वान, श्रेणी , कौटुम्बिक, सरस्वती, राष्ट्रभाषा, दुरावस्था, रायबरेली, प्रलोभन , प्रधान , ट्रेफिक, मैनेजर।
उत्तर:
- विद्यार्थी इन शब्दों का सही उच्चारण करने और शुध्द वर्तनी में लिखने का अभ्यास करें।

प्रश्न 2. सही जोड़ी बनाइए—
(1) सामासिक शब्द          (क) थोड़ी-सी
(2) पुनरूक्त शब्द            (ख) सुख-दु:ख
(3) युग्म शब्द                    (ग) पेट -पूजा
(4) समानता सूचक शब्द  (घ) पूरे-पूरे
उत्तर
:- (1)→(ख),(2)→(घ),(3)→(ग),(4)→(क)।

प्रश्न 3. उदाहरण के अनुसार निम्नलिखित शब्दों को बहुवचन में लिखिए–
उत्तर
:- शब्द बहुवचन
लट्ठा लट्ठों
कठिनाई कठिनाइयों
किताब किताबों
नौकरी नौकरियों
गरीब गरीबों
लेखक लेखकों

प्रश्न 4. दिए गए उदाहरण के अनुसार विलोम और समानार्थी शब्द लिखिए–
विलोम शब्द       समानार्थी शब्द
सर्दी    गर्मी ,       रात रात्रि
सुख    दु:ख ,      घर गृह
उन्नति अवनति , वर्ष साल
मालिक नौकर ,  महीना माह
गरीबी अमीरी ,   स्नेह प्रेम

प्रश्न 5. निम्नलिखित क्रियाओं के पूर्वकालिक क्रिया रुप बनाइए और वाक्यों में प्रयोग कीजिए–
जाग , माँग , खेल, लौट, खा, नहा, घूम ,उड़, उठा ।
उत्तर:
- वाक्य - प्रयोग
जागकर– राम प्रातः जल्दी जागकर विद्यालय जाता है।
माँगकर– लिंकन पुस्तके माँगकर लाता था।
खेलकर– मै विद्यालय में क्रिकेट खेलकर जाऊँगा।
लौटकर– छात्र विद्यालय से लौटकर घर जाते हैं।
खाकर– प्रातः कुछ खाकर विद्यालय जाना चाहिए।
नहाकर –अच्छे बच्चे नहाकर विद्यालय जाते हैं।
घूमकर– वह शाम को घूमकर घर लौटता है।
उड़कर– चिड़िया घोसलें से उड़कर गई है।
उठाकर– बाल्टी में भरा पानी उठाकर लाओ।

प्रश्न 6. कठोर, निम्न, दीर्घ, मधुर शब्दों में ‘तर’ , ‘तम’ प्रत्यय लगाकर उत्तरावस्था और उत्तमावस्था के विशेषण बनाइए और वाक्यों में प्रयोग कीजिए।
उत्तर
:- वाक्य - प्रयोग
कठोरतर— राम कठोरतर काम करते-करते मजबूत बना है
कठोरतम— देश की सीमा पर लड़ने वाले सैनिकों को कभी-कभी कठोरतम परिस्थितियों में संघर्ष करना पड़ता है।
निम्नतर— वह स्वार्थ में निम्नतर हथकण्डे अपनाने लगा है।
निम्नतम — परिश्रम से निकटतम व्यक्ति भी शीर्ष पर पहुँच सकता है।
दीर्घतर— केदार घाटी दीर्घतर होती जा रही है।
दीर्घतम—साहसी व्यक्ति दीर्घतम खाड़ी को भी पार कर सकता है।
मधुरतर—राम और श्याम में कटुता थी किन्तु अब मधुरतर सम्बन्ध होने लगे है।
मधुरतम— मोहन बहुत चतुर है। वह मधुरतम व्यवहार करके अपना उल्लू सीधा कर लेता है ।

Post a Comment

0Comments

Post a Comment (0)

#buttons=(Accept !) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Accept !